लखनऊ : 5 जुलाई 2020 को पत्नी को मारकर उसकी लाश को टुकड़ों में काटकर फेंकने के अभियुक्त पति समीर खान की जमानत याचिका को इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ ने ख़ारिज कर दिया है। यह आदेश न्यायमूर्ति दिनेश कुमार सिंह की एकल पीठ ने दिया है। कोर्ट का कहा कि अभियुक्त ने जघन्य अपराध किया है, इसलिए उसे जमानत पर रिहा नहीं किया जा सकता।
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बतादें पुलिस को दिए अपने बयान में आरोपी ने बताया की वह मुंबई में एक चिकन शॉप में काम करता था, और वहीं की एक युवती से शादी भी कर ली थी। शादी के कुछ समय बाद 2020 में वह बलरामपुर स्थित अपने गांव चला आया। उसका कहना है की, जब भी वह अपनी पत्नी को फोन करता तो उसका फोन व्यस्त जाता था। 25 जून 2020 को वह पत्नी के साथ लखनऊ के इंदिरा नगर स्थित किराए के मकान में रहने लगा। 5 जुलाई 2020 को दोनों के बीच झगड़ा हुआ। पत्नी से झगड़ा और उसके चरित्र पर शक होने के कारण उसने पत्नी की हत्या कर उसकी लाश को छह टुकड़ों में काटकर बाराबंकी के सफेदाबाद में फेंक दिया।