लखनऊ। उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के मुख्य सभागार में शनिवार को आकांक्षा समिति के सदस्यों और मिशन के अधिकारियों व प्रशिक्षण प्रदाताओं की एक बैठक का आयोजन किया गया । बैठक का शुभारंभ कौशल विकास मिशन निदेशक आंद्रा वामसी ने दीप प्रज्वलित कर किया। कौशल विकास मिशन निदेशक आंद्रा वामसी ने कौशल विकास प्रशिक्षण हेतु मोबिलाईजेशन पर बल देते हुए कहा कि प्रशिक्षण में गुणवत्ता लाने के लिए प्रदेश के लगभग 4.5 करोड़ युवाओं में से उचित लाभार्थी को उचित समय पर उचित योजना में नामांकित कराया जाना अत्यावश्यक है। उन्होंने उचित पात्र लाभार्थियों का चयन करने के उद्देश्य से मोबिलाइजेशन का महत्व बताते हुए समिति के सहयोग की आवश्यकता व्यक्त की गई। इसी प्रकार मिशन के अन्तर्गत संचालित दीन दयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना, जिसमें आवासीय प्रशिक्षण प्रदान किया जाता है, में भी आकांक्षा समिति का सहयोग प्राप्त किया जाना महत्वपूर्ण हो सकता है।
इसी उद्देश्य से मिशन द्वारा उत्तर प्रदेश आकांक्षा समिति के साथ गैर वित्तीय अनुबंध किया गया है तथा समिति से विभिन्न एनजीओ, स्वयं सहायता समूह इत्यादि के माध्यम से पात्र लाभार्थियों का मोबिलाइजेशन, काउंसलिंग री-स्किलिंग तथा अपस्किलिंग कराने में सहयोग अपेक्षित है।समिति का एक अन्य महत्वपूर्ण सहयोग यह भी होगा कि उनके द्वारा ऐसे जॉब रोल्स, जिनको युवा करने के लिए इच्छुक हैं, की सूचना भी समय-समय पर मिशन को उपलब्ध कराई जाएगी ताकि मिशन के प्रशिक्षण कार्यक्रमों को प्रासंगिक बनाया जा सके। सभी प्रशिक्षण प्रदाताओं को निर्देशित किया कि केवल शहरी क्षेत्रों में ही प्रशिक्षण केंद्र न बनाकर तहसील स्तर पर अधिकाधिक केंद्र बनाने का प्रयास करें व आकांक्षा समिति के सहयोग से पात्र एवं उपयुक्त लाभार्थी का चयन करने का अधिकाधिक प्रयास करें। उन्होंने निर्देश दिया कि आगामी 10 दिनों में प्रत्येक जनपद में जिला कौशल समिति की बैठक आयोजित की जाए और उसमें आकांक्षा समिति की जनपद स्तरीय पदाधिकारियों को अवश्य आमंत्रित किया जाए. कार्यक्रम में उ.प्र. आकांक्षा समिति की सचिव प्रीति आहूजा, संयुक्त सचिव प्रियंका प्रियदर्शी व मुख्य विकास अधिकारी रिया केजरीवाल ने मिशन निदेशक को बुकें भेट कर स्वागत किया गया । बैठक में मिशन के उपनिदेशक राजेश जायसवाल,समिति की नन्दिता सिंह, कल्पना साहू,कोषाध्यक्ष श्वेता प्रसाद उपस्थित रही।