धर्म-कर्म: बार-बार जयगुरुदेव नाम ध्वनि बोलने, बुलवाने से ये प्रभु का जयगुरुदेव नाम रट जायेगा, तभी तो अचानक आये संकट के समय में मुंह से निकल पायेगा, तो जीवों को बचाने के लिए तरह-तरह के उपाय खोजने वाले, वक़्त गुरु, दुःखहर्ता, उज्जैन के बाबा उमाकान्त जी महाराज ने बताया कि, इस कलयुग का रक्षक नाम जयगुरुदेव, अगर रट जाए तो कहा है- कोटि-कोटि मुनि जतन कराही। अंत नाम मुख आवत नाहीं।। अगर आखिरी वक्त पर नाम याद नहीं आता है तो नामी कहां से खड़े हुए मिलेंगे? लेकिन नाम अगर याद हो गया तो देखो गुरु महाराज की ही बातों को बता रहा हूं, उन्होंने कहा था कि जयगुरुदेव नाम अगर तुम बोलोगे तो मौत आते समय मैं मिलूंगा और तुम्हारी संभाल करूंगा।
अंत समय में कान में जयगुरुदेव बोलने पर मरते हुए ने क्या बताया:-
सहजो बाई ने कहा कि, मौत के समय 60 हजार बिच्छू एक साथ डंक मारने जितना दर्द होता है। अंत समय में छटपटा रहा था, हड्डी-हड्डी चटक रही थी, आंख की रोशनी ख़त्म, न सुन पा रहा था, न बोल पा रहा था, कुछ नहीं। कान में 10 बार जयगुरुदेव नाम बोलते ही आंख खोल करके बताया, अब मैं शान्ति से जा रहा हूं, यमदूत हट गए, (सफ़ेद दाढ़ी, सफ़ेद वस्त्र वाले) बाबा जी आ गए हैं।
अदृश्य शक्तियों यमराज के दूतों से कान में जयगुरुदेव नाम बोलने पर बचत:-
मौत के समय बहुत कम लोग बचाने वाले होते हैं। अदृश्य शक्तियां आती हैं जिनको इन बाहरी आंखों से देख नहीं सकते हो। यमराज के दूत लिंग शरीर में होते हैं, स्थूल शरीर (मनुष्य शरीर की आँखों) से नहीं दिखते हैं। जिसे देख ही नहीं पाओगे, उससे बचाने में किसी की मदद कैसे करोगे? लेकिन अगर जयगुरुदेव नाम ध्वनि बच्चों को याद करा दोगे, रटा दोगे तब कोई तकलीफ मुसीबत आने पर अगर उस समय मुंह से जयगुरुदेव नाम निकल गया तो गुरु महाराज जी के दया से बचत होगी।
मुख्य चीज है विश्वास:-
गुलाबी कपड़ा क्यों पहनाया गया? जैसे आती रेलगाड़ी लाल झंडी देख कर रुक जाती है, जैसे झंडा नीचे गिराने पर यानी युद्ध विराम लागू हो जाता है, इसी तरह से गुलाबी कपड़ा पहना हुआ देखकर के जो मौत की गाड़ी तेजी से आ रही है, उसमें रुकावट आती है। बहुत लोगों ने गुलाबी कपड़ा पहनने के चमत्कार को बताया लेकिन मुख्य चीज यह है कि विश्वास होना चाहिए। गुलाबी कपड़ा पहने हुए हैं, जयगुरुदेव नाम मुख से निकला तो गुरु की दया से बचत होनी ही होनी है।