लखनऊ। गांव की सरकार बनाने को लेकर मंगलवार व बुधवार को प्रदेश की सभी 59 हजार से अधिक ग्राम पंचायतों में ग्राम प्रधान व ग्राम पंचायत सदस्य शपथ ग्रहण करेंगे। पिछले दिनों पंचायती राज विभाग के अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह की तरफ से 25 व 26 मई को प्रदेशभर में वर्चुअल माध्यम से नवनिर्वाचित ग्राम प्रधान व ग्राम पंचायत सदस्यों की शपथ कराए जाने के आदेश जारी किए गए थे। जिसके बाद मंगलवार व बुधवार को प्रदेश भर में यह कार्यक्रम जिला प्रशासन व पंचायती राज विभाग के अधिकारियों के द्वारा वर्चुअल माध्यम से कराए जाएंगे। नवनिर्वाचित ग्राम प्रधानों की शपथ के बाद ग्राम पंचायतों का गठन होगा और पहली बैठक 27 मई को आयोजित होगी। इसके साथ ही ग्राम पंचायतों की पहली बैठक में विकास कार्यों को मंजूरी दी जाएगी और विकास कार्य रफ्तार पकड़ेंगे।
अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने जारी किया था आदेश
राज्य सरकार के निर्देश के बाद पंचायती राज विभाग के अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने पिछले दिनों शपथ ग्रहण के आदेश जारी किए थे। जारी आदेश के अनुसार, ग्राम पंचायतों के संगठित और निर्वाचित सदस्यों की शपथ कार्यक्रम वर्चुअल माध्यम से ही कराए जाएंगे। शपथ कार्यक्रम में कोविड-19 का प्रोटोकॉल का पालन सख्ती से कराया जाएगा।
जारी आदेश में कहा गया था कि ग्राम पंचायतों में प्रधान और कम से कम दो तिहाई पंचायत सदस्यों का निर्वाचित होना जरूरी है। जिन ग्राम पंचायतों में दो-तिहाई पंचायत सदस्य होंगे। तभी ग्राम पंचायतों का गठन किया जा सकेगा। अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने वर्चुअल रूप ग्राम प्रधानों व पंचायत सदस्यों की शपथ कराने और ग्राम पंचायतों को संगठित कराने को लेकर आदेश दिया है। जारी आदेश में कहा गया है कि जिन ग्राम पंचायतों में शपथ ग्रहण ग्राम प्रधान की होगी और जहां भी दो तिहाई से अधिक ग्राम पंचायत सदस्य होंगे। सिर्फ उन ग्राम पंचायतों का गठन करके इसकी सूचना शासन को 28 मार्च को निर्धारित प्रारूप पर भेज दी जाए।
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जिन ग्राम पंचायतों में दो तिहाई से कम सदस्य वहां फिर होगी निर्वाचन प्रक्रिया
जिन ग्राम पंचायतों में दो तिहाई से कम सदस्य हैं। उन ग्राम पंचायतों में दोबारा से पंचायत सदस्यों के निर्वाचन की प्रक्रिया और फिर पंचायतों के गठन की प्रक्रिया पूरी कराई जा सके। जिन ग्राम पंचायतों में 2 तिहाई से अधिक नवनिर्वाचित सदस्य नहीं रहेंगे। वहां पर उसकी संख्या शासन को भेजी जाएगी और इसके बाद वहां पर निर्वाचन की प्रक्रिया अलग से पूरी कराई जाएगी। जिससे कुल ग्राम पंचायतों में भी विकास के कार्य आगे बढ़ाने को लेकर ग्राम पंचायतों का गठन कराया जा सके।
जारी आदेश के अनुसार, ग्राम पंचायतों में शपथ ग्रहण के कार्यक्रम वर्चुअल किए जाएंगे। प्रत्येक खंड विकास कार्यालय के स्तर पर कुल पंचायतों को एक निर्धारित संख्या में विभाजित करते हुए पंचायत भवन में ऑनलाइन शपथ कराने का समय आवंटित किया गया है और उसी के अनुसार पंचायतों के नव निर्वाचित प्रतिनिधि पंचायत सचिव की उपस्थिति में ऑनलाइन शपथ ग्रहण करेंगे। इसके बाद शपथ ग्रहण से संबंधित पत्र और ग्राम पंचायतों के गठन के दस्तावेज जिला पंचायत राज अधिकारी के माध्यम से शासन को भेजे जाएंगे।
शपथ नहीं लेंगे तो माना जाएगा पद रिक्त
वहीं पंचायत राज अधिनियम के अंतर्गत यह व्यवस्था भी है कि शपथ ग्रहण कार्यक्रम के दौरान जो भी नवनिर्वाचित ग्राम प्रधान, ग्राम पंचायत सदस्य शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करने से इनकार करते हैं और शपथ नहीं लेते हैं तो वह पद रिक्त माना जाएगा और इसकी सूचना जिला पंचायत राज अधिकारी की तरफ से शासन को भेजी जाएगी। पंचायती राज अधिनियम में यह व्यवस्था है कि कोई भी प्रधान या सदस्य शपथ लेने और शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करने से अगर इनकार करता है तो वह पद रिक्त माना जाएगा। ऐसी स्थिति में प्रदेश भर में 2 दिनों तक चलने वाली शपथ ग्रहण समारोह के अंतर्गत अगर कोई नवनिर्वाचित प्रधान या पंचायत सदस्य अपने पद की शपथ ग्रहण नहीं करता है तो स्वाभाविक रूप से अधिनियम में उल्लखित प्रावधानों के अनुसार वह पद रिक्त माना जाएगा और दोबारा से निर्वाचन की प्रक्रिया वहां पर कराई जाएगी।
शपथ न लेने का मामला नहीं आया प्रकाश में
हालांकि हाल के वर्षों में पिछली बार हुए पंचायत चुनाव और उसके बाद शपथ ग्रहण को लेकर प्रदेश की किसी भी एक क्रम पंचायत में ग्राम प्रधान द्वारा शपथ ग्रहण न किए जाने का मामला सामने नहीं आया था। कोई भी नवनिर्वाचित प्रधान शपथ ग्रहण करने से इनकार नहीं करता लेकिन यह अधिनियम में व्यवस्था जरूर है।https://gknewslive.com