लखनऊ : पुरानी पेंशन बहाली को लेकर कर्मचारी संगठन एक बार फिर सरकार से दो-दो हाथ करने की तैयारी कर रहे हैं। 7 नवंबर को पूरे प्रदेश में एक दिवसीय धरना प्रर्दशन कर कर्मचारियों ने अपनी मांगों के निस्तारण के लिए सीएम को ज्ञापन दिया गया था। लेकिन, अब तक उन मांगों के निस्तारण के लिए सरकार की ओर से कोई कदम नहीं उठाया गया है।
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जिसके चलते राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद ने पुरानी पेंशन बहाली, राज्य कर्मचारियों को केन्द्र के समान भत्ता दिया जाए, पंडित दीनदयाल उपाध्याय कर्मचारी कैशलेस चिकित्सा योजना एवं वेतन विसंगतियों का निस्तारण किया जाए, शासनादेश के निर्देशानुसार सेवा संगठनों से नियमित बैठक की जाए आदि समेत 11 मांगों को लेकर एक बार फिर देश व्यापी आन्दोलन करने का फैसला कर लिया है। राज्य कर्मचारियों ने बैठक कर यह फैसला लिया है की, साल 2023 को पूरी तरह से संघर्ष का साल करार कर दिया जाए। इसको लेकर केन्दीय एवं राज्य स्तरीय संगठनों से बातचीत की जा रही है। परिषद के अध्यक्ष हरिकिशोर तिवारी ने बताया कि जनवरी 2023 की शुरूआत से ही आन्दोलन शुरू हो जाएगें। दिसम्बर 2023 में राष्ट्रीय स्तर पर आन्दोलन किया जाएगा।