लखनऊ : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में आयोजित सनतकदा फेस्टिवल में सोमवार को लाइव परफॉर्मेंस के दौरान मशहूर पखावज वादक दिनेश प्रसाद की वाद्य यंत्र बजाते हुए मौत हो गई। मेडिकल हेल्प आने से पहले ही दिनेश प्रसाद का कॉर्डियक अरेस्ट आने के कारण निधन हो गया।

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जानकारी के मुताबिक, वह सोमवार को महिंद्रा सनतकदा फेस्टिवल सफेद बारादरी में प्रस्तुति दे रहे थे। तभी अचानक बेहोश होकर गिर गए। साथी कलाकारों ने उनको सीपीआर दिया। लेकिन, कुछ नहीं हुआ। इसके बाद तुरंत उनको केजीएमयू के कॉर्डियोलॉजी विभाग लेकर पहुंचे। वहां डॉक्टरों ने उनको मृत घोषित कर दिया। दिनेश प्रसाद की गिनती मशहूर चुनिंदा पखावज बजाने वाले कलाकारों में होती रही है।

दिनेश प्रसाद एसएनए अवार्ड से थे सम्मानित:-
68 साल के दिनेश प्रसाद का जन्म मथुरा में 1 जून 1956 को हुआ था। इनके पिता पं. बाबू लाल मथुरा के पखावज वादक थे। पखावज वादन की शिक्षा उन्होंने अपने पिता और स्व. कुदऊ सिंह घराने से प्राप्त की थी। उनकी तीन बेटियां, एक बेटा और पत्नी कमलेश हैं। वे दूरदर्शन समेत कई रेडियो चैनल पर भी रेगुलर परफॉर्म करते थे। वह पखावज वादक के साथ-साथ एक अच्छे तबलावादक भी थे। दिनेश प्रसाद का अंतिम संस्कार आलमबाग स्थित श्मशान घाट पर पूरे विधि विधान से किया गया। आपको बतादें पखावज वादक दिनेश प्रसाद मिश्रा को एसएनए अवॉर्ड से भी सम्मानित किया गया था।

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