लखनऊ: जमीन दलाली करने वालों ने एक व्यक्ति के नाम से फर्जी दस्तावेज बनाकर उनके स्थान पर किसी दूसरे को खड़ा करके उनकी लाखों रुपए की जमीन किसी और को बेच दिया। ऐसा ही एक मामला सामने आया है। गोसाईंगंज के अमेठी कस्बे में एक मृतक महिला की जमीन फर्जी दस्तावेजों के आधार पर भू माफियाओं ने दूसरे के नाम वरासत करवाकर बिकवा दी। पीड़ित को कम दिखाई देने के कारण जब उसे पता चला तो उसने इस बाद कि शिकायत डीसीपी साउथ से की। पुलिस अब मामले जांच कर रही है। जानकारी के मुताबिक 35 अमेठी हाउस इनायत मंजिल अमीनाबाद लखनऊ निवासी अविवाहित हबीबा खातून अपने मोहिउद्दीन के साथ रहती थी। जिनकी अमेठी कस्बे में जमीन थी । उनकी आकस्मिक मृत्यू 17 अप्रैल 2017 को हो गई।

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इसके बाद भूमाफियाओं ने हबीबा खातून के चार वारिश बना कर फर्जी मृत्यू प्रमाण पत्र के आधार पर 14 जनवरी 2020 को उनके चार पुत्र बताते हुए शहाबुद्दीन उस्मानी, तैयब उस्मानी, उस्मान उस्मानी व दुजाना उस्मानी निवासी सैयदपुरा राजा वाड़ी सूरत मूल निवासी मदेयगंज खदरा लखनऊ ने हबीबा हाशमी के नाम फातिमा अस्पताल से फर्जी डेथ सर्टिफिकेट बनवाकर व अन्य फर्जी प्रमाण पत्र बनवाकर चारो के नाम वरासत दर्ज करवा दी। वरासत दर्ज होते ही जमीन का सौदा यशमित्रा इंफ्राविजन के हाथों करके बेचने के लिए एग्रीमेंट कर लिया ।भूमाफियाओं ने हबीबा खातून की जगह हबीबा हाशमी के मृत्यू प्रमाणपत्र लगाकर जमीन हबीबा खातून की जमी तहसील प्रशासन ने बिना जांच किये हबीबा हाशमी ने बेटों के नाम दर्ज कर दी। हबीबा खातून के भाई मोहिउद्दीन को आंखों से कम दिखने के कारण भूमाफियाओं ने उसका फायदा उठाया।

भूमाफिया घोषित

पीड़ित मोहिउद्दीन का आरोप है कि उसके बहन की जमीन दूसरे के नाम वरासत दर्ज कराने व विकवाने में फुरकान अहमद अब्बासी, कलाम व रामअवध का हाथ है। तीनो को सरकार ने भूमाफिया घोषित कर रखा है।

तहसील अधिकारियों की लापरवाही

मोहनलालगंज तहसील के अधिकारियों ने मौका मुआयना व दस्तावेजो की जांच किये बिना जमीन की वरासत दूसरे के नाम कर दी गई। अधिकारी इस मामले की जमीनी हकीकत जाने विना हबीबा हाशमी के मृत्यू प्रमाण पत्र पर हबीबा खातून की जमीन पर वरासत दर्ज कर दी।

नगर पंचायत के फर्जी दस्तावेज बनाये

जमीन हड़पने के लिए उपरोक्त आरोपियों ने नगर पंचायत अमेठी के तीन नगर पंचायत अध्यक्षो के नाम से फर्जी मृत्यू प्रमाण पत्र बनवा लिए। जिस पर मृतका की मृत्यू 11 दिसंबर 2010 दिखाई गई। जबकि पीडित के मुताविक 17 अप्रैल 2017 को उसकी बहन की मृत्यू हुई।

 

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