White Hair treatment: आजकल कम उम्र में बाल सफेद (white hair) होना आम बात बन गई है. अधिकांश युवाओं को कम उम्र में ही बाल सफेद होने लगे हैं. 30 की उम्र आते-आते अधिकांश युवाओं की दाढ़ी में भी कुछ बाल सफेद दिखने लगते हैं. कम उम्र में बाल सफेद होने के कई कारण है. सबसे पहला है जेनेटिक यानी अगर माता-पिता, दादा-दादी, नाना-नानी को यह बीमारी है तो बाल सफेद होने के चांस ज्यादा है. लेकिन जेनेटिक कारण बहुत कम लोगों में होता है. कम उम्र में बाल सफेद होने के सबसे ज्यादा कारण ये है कि लोगों की गतिहीन जीवनशैली हो गई है और खान-पान बहुत खराब हो गया है. यानी कम उम्र में सफेद बाल के लिए अधिकांश मामलों में व्यक्ति खुद ही जिम्मेदार होते हैं. इसलिए कम उम्र में बाल सफेद होने से रोकने के लिए यह जानना जरूरी है कि बाल सफेद होते क्यों हैं.
बाल सफेद होने के कारण
आमतौर पर कम उम्र में बाल सफेद होने का कारण मेलेनिन है. मेलेनिन एक रंगद्रव्य है. यानी मेलेनिन के कारण ही बाल के रंग काले होते हैं. मेलेनिनन एक पिंगमेंट है जो आंख, बाल और स्किन की रंग और चमक को बनाए रखता है. जब शरीर में मेलेनिन कम बनने लगे या मेलेनिन की कमी होने लगे तो बालों का रंग सफेद होने लगता है. शरीर में जितना अधिक मेलेनिन रहेगा, बालों का रंग उतना ही गहरा काला होगा. मेलेनिन स्किन, आई और बाल में पिग्मेंटेशन प्रदान करता है. यह सूरज से निकले हानिकारक अल्ट्रावायलेट किरणों से रक्षा करता है. यह सूरज की रोशनी के कारण क्षतिग्रस्त होने वाले हेयर सेल्स को रोकता है.
मेलेनिन को शरीर में बढ़ाया जा सकता है
मैनएक्सपीके मुताबिक कुछ तरीकों को अपनाकर शरीर में मेलेनिन को बढ़ाया जा सकता है. कुछ एसेंशियल ऑयल है जिसके इस्तेमाल से मेलेनिन को बढ़ाया जा सकता है और बालों को सफेद होने से रोका जा सकता है. लेकिन इसके लिए सिर्फ तेल ही काफी नहीं है. बालों को सफेद होने से रोकने के लिए हेल्दी डाइट जरूरी है और बुरी आदतों को छोड़ना अनिवार्य है. इसके लिए सिगरेट, शराब को हमेशा के लिए बाय कहना होगा. इसके साथ ही तनाव, चिंता, अवसाद मेलेनिन को घटाने का सबसे बड़ा कारण है. इसलिए तनाव, चिंता, अवसाद को दूर करना होगा.