लखनऊ। आज 16 जनवरी 2021 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा भारत में कोरोना वैक्सीन के टीकाकरण अभियान का शुरुआत हो गई है। आज पूरे तीन लाख लोगों का टीकाकरण किया गया। पीएम मोदी ने कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए कहा, ‘आज के दिन का पूरे देश को बेसब्री से इंतजार रहा था। कितने महीनों से देश के हर घर में बच्चे, बूढ़े, जवान सभी की जुबान पर ये सवाल था कि कोरोना वैक्सीन कब आएगी? अब वैक्सीन आ गई है और बहुत कम समय में आ गई है।’ पीएम मोदी ने रामधारी सिंह दिनकर को उद्धृत करते हुए कहा, ‘मानव जब जोर लगाता है, पत्थर पानी बन जाता है.’
आपको बता दें कि PM मोदी ने देशवासियों को संबोधित करते हुए कहा, ‘टीकाकरण अभियान के पहले चरण में तीन करोड़ लोगों का टीकाकरण किया जाएगा। दूसरे चरण में हमें इसको 30 करोड़ की संख्या तक ले जाना है। जो बुजुर्ग हैं, जो गंभीर बीमारी से ग्रस्त हैं, उन्हें इस चरण में टीका लगेगा। आप कल्पना कर सकते हैं। 30 करोड़ की आबादी से ऊपर के दुनिया के सिर्फ तीन ही देश हैं- खुद भारत, चीन और अमेरिका। इतिहास में इतने बड़े स्तर का टीकाकरण अभियान पहले कभी नहीं चलाया गया है।’
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पीएम मोदी ने आगे कहा, ‘दुनिया के 100 से भी ज्यादा ऐसे देश हैं जिनकी जनसंख्या 3 करोड़ से कम है और भारत वैक्सीनेशन के अपने पहले चरण में ही 3 करोड़ लोगों का टीकाकरण कर रहा है। मैं ये बात फिर याद दिलाना चाहता हूं कि कोरोना वैक्सीन की दो डोज लगनी बहुत जरूरी है। पहली और दूसरी डोज के बीच, लगभग एक महीने का अंतराल भी रखा जाएगा। दूसरी डोज़ लगने के 2 हफ्ते बाद ही आपके शरीर में कोरोना के विरुद्ध ज़रूरी शक्ति विकसित हो पाएगी। भारत का टीकाकरण अभियान बहुत ही मानवीय और महत्वपूर्ण सिद्धांतों पर आधारित है। जिसे सबसे ज्यादा जरूरत है, उसे सबसे पहले कोरोना का टीका लगेगा। हर हिंदुस्तानी इस बात का गर्व करेगा की दुनिया भर के करीब 60 फीसदी बच्चों को जो जीवन रक्षक टीके लगते हैं, वो भारत में ही बनते हैं। भारत की सख्त वैज्ञानिक प्रक्रियाओं से होकर ही गुजरते हैं। कोरोना से हमारी लड़ाई आत्मविश्वास और आत्मनिर्भरता की रही है। इस मुश्किल लड़ाई से लड़ने के लिए हम अपने आत्मविश्वास को कमजोर नहीं पड़ने देंगे। ये प्रण हर भारतीय में दिखा। भारत के वैक्सीन वैज्ञानिक, हमारा मेडिकल सिस्टम, भारत की प्रक्रिया की पूरे विश्व में बहुत विश्वसनीयता है। हमने ये विश्वास अपने ट्रैक रिकॉर्ड से हासिल किया है।’
पीएम मोदी ने कहा, ‘एक देश में जब भारतीयों को टेस्ट करने के लिए मशीनें कम पड़ रहीं थीं तो भारत ने पूरी लैब भेज दी थी। ताकि वहां से भारत आ रहे लोगों को टेस्टिंग की दिक्कत ना हो। भारत ने इस महामारी से जिस प्रकार से मुकाबला किया उसका लोहा आज पूरी दुनिया मान रही है। केंद्र और राज्य सरकारें, स्थानीय निकाय, हर सरकारी संस्थान, सामाजिक संस्थाएं, कैसे एकजुट होकर बेहतर काम कर सकते हैं। ये उदाहरण भी भारत ने दुनिया के सामने रखा।’https://gknewslive.com