लखनऊ: एक बार फिर से पूरे देश में कोरोना वायरस का प्रकोप बढ़ता दिखाई दे रहा है लोग पहले से ही इस भयानक महामारी से डरे है। जिस हिसाब से covid-19 के केसों में बढ़ोत्तरी देखने को मिल रही है। उससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि देश में कही फिर न लॉकडाउन लगाने की नौबत आ जाए. पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस के नए मामले इस तरफ ही इशारा कर रहे हैं. पिछले 24 घंटे में कोविड-19 के 25 हजार से ज्यादा मामले मिलने के बाद इस महामारी ने एकबार फिर से चिंता बढ़ा दी है. इससे अब ज्यादा सावधान रहने की जरूरत है. थोड़ी-सी लापरवाही भी फिर सबपर भारी पड़ सकती है.

पिछले साल दिसंबर में जब कोरोना संक्रमण के रोज मिलने वाले केसेज जब 10 हजार के आसपास थे, तब पूरी दुनिया को लगने लगा था कि भारत इस महामारी से जारी जंग को जीतने की तरफ बढ़ रहा है. उस वक्त देश में लोगं ने कोरोना के खिलाफ अपनाए जा रहे एहतियाती उपायों का पूरी तत्परता से पालन करना शुरू कर दिया था. लेकिन फिर शायद लापरवाह होने की वजह से नए कोरोना मरीजों की संख्या एकबार फिर डराने लगी है.

लोगों की लापरवाही पड़ सकती है भारी

विशेषज्ञों का मानना है कि लापरवाही के कारण ही देश में कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं. फिजिकल डिस्टेंसिंग और मास्क लगाने जैसे एहतियाती उपायों का लोग ठीक से पालन नहीं कर रहे हैं जिसका खामियाजा भुगतना पड़ सकता है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रलय के अनुसार, शनिवार को कोरोना संक्रमण के 24 हजार से ज्यादा नए मामले सामने आए हैं. शुक्रवार को 23 हजार से ज्यादा नए मामले सामने आए थे. इस तरह से शनिवार को 20 दिसंबर, 2020 के बाद यह दैनिक कोरोना संक्रमितों का सबसे बड़ा आंकड़ा रहा है. बता दें कि 20 दिसंबर को 26 हजार से ज्यादा मामले आए थे. कोरोना संक्रमण के नए मामलों के पिछले सात दिनों के औसत की बात करें तो इसमें बड़ा इजाफा हुआ है. 11 फरवरी को खत्म हुए सप्ताह में औसत 10,988 दैनिक मामले आए थे तो वहीं गत बुधवार को खत्म हुए सप्ताह में इसमें 67 फीसद से ज्यादा इजाफा हुआ है.

 

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